नई दिल्ली, 27 जुलाई : इस साल एक जनवरी की सुबह कंझावला इलाके में युवती को कार के नीचे कई किलोमीटर तक घसीटने के आरोपियों के खिलाफ अदालत ने गुरुवार को आरोप तय कर दिए। इनमें से चार आरोपियों के खिलाफ हत्या का मुकदमा चलाने के निर्देश दिए हैं। जबकि अन्य तीन आरोपियों पर झूठी जानकारी देने समेत अन्य आरोपों में मुकदमा चलेगा।

रोहिणी स्थित अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश नीरज गौड़ की अदालत ने कार में सवार अमित खन्ना, कृष्ण, मनोज मित्तल और मिथुन के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 302 (हत्या), 120बी (साजिश), 201 (सबूत मिटाना या अपराधी को शरण देने के लिए झूठी जानकारी देना), और 212 (आरोपी को शरण देना) के तहत आरोप तय किए। आरोपी अमित खन्ना पर लापरवाही से गाड़ी चलाने का भी आरोप है। अदालत ने तीन अन्य सह आरोपियों आशुतोष भारद्वाज, अंकुश और दीपक खन्ना को आपराधिक साजिश के आरोप से मुक्त कर दिया, लेकिन उनके खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 182 (झूठी जानकारी देना), 34 (साझा मंशा), 201 और 212 के तहत आरोप तय करने का निर्देश दिया।

14 अगस्त को लगेगी आधिकारिक मुहर

अदालत ने आरोपियों के खिलाफ गुरुवार को आरोप तय करने की घोषणा की है। जबकि आधिकारिक तौर पर मुहर लगाने के लिए 14 अगस्त की तारीख तय की गई है। इस तारीख के बाद गवाहों के बयान दर्ज होने की प्रक्रिया शुरु होगी। अदालत ने अभियोजन पक्ष को यह भी कहा कि वह गवाहों को सिलसिलेवार पेश करने के हिसाब से सूची भी पेश करे।

यह है मामला

नववर्ष पर कंझावला इलाके में 20 वर्षीय युवती के कार में फंसने के बाद उसे काफी दूर तक घसीटा गया था। कार के नीचे फंसने और गड्ढों में घसीटे जाने की वजह से युवती की कमर का हिस्सा खत्म हो गया था। अधिक रक्त प्रवाह के कारण उसकी मौत हो गई थी। पुलिस ने दीपक खन्ना, अमित खन्ना, कृष्ण, मिथुन और मनोज मित्तल को दो जनवरी को गिरफ्तार किया था। सह आरोपी आशुतोष भारद्वाज और अंकुश को बाद में एक मेट्रोपोलिटिन मजिस्ट्रेट की अदालत ने ज़मानत दे दी थी, जबकि मौजूदा अदालत ने दीपक खन्ना को 13 मई को राहत दी। दिल्ली पुलिस ने सात आरोपियों के खिलाफ एक अप्रैल को 800 पन्नों का आरोप पत्र दायर किया था और बाद में मामला सत्र अदालत को भेजा दिया था।

युवती की सहेली है चश्मदीद गवाह

इस मामले में 20 वर्षीय युवती की सहेली चश्मदीद गवाह है। अभियोजन पक्ष ने आरोपपत्र में मृतका की सहेली को महत्वपूर्ण गवाह बनाया है। पुलिस के मुताबिक यह सहेली घटना के समय उसके साथ थी। घटना से पहले वह मृतका की स्कूटी से उतरी थी। तभी युवती की स्कूटी आरोपियों की कार में फंस गई। यह बहुत डर गई थी और मौके से अपने घर चली गई थी। हालांकि जांच के दौरान पुलिस ने इस युवती के बयान दर्ज किए और उसके बयानों को आरोपपत्र का अहम हिस्सा बनाया है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *