भोपाल, 25 मई: मध्यप्रदेश के गृह मंत्री डॉ नरोत्तम मिश्रा ने आज कहा कि बागेश्वर धाम के पंडित धीरेंद्र शास्त्री की सुरक्षा की सरकार की जिम्मेदारी है और इसी के मद्देनजर उन्हें प्रदेश सरकार ने Y श्रेणी की सुरक्षा उपलब्ध कराई गई है। डॉ मिश्रा ने संवाददाताओं से चर्चा के दौरान कहा कि पूरे देश में पंडित शास्त्री के लाखों भक्त हैं। बहुत से लोग उनके प्रवचन में आते हैं। ऐसे में उनकी सुरक्षा करने का सरकार का दायित्व है। गृह मंत्री ने कहा कि पिछले दिनों सभी ने पंडित शास्त्री के बिहार प्रवास के दौरान वहां का वातावरण देखा। ऐसे में मध्यप्रदेश सरकार के गृह मंत्रालय ने उन्हें वाय श्रेणी की सुरक्षा दी है। पंडित शास्त्री की इन दिनों प्रदेश के आदिवासीबहुल क्षेत्र बालाघाट में कथा आयोजित हो रही है। महाराष्ट्र और छत्तीसगढ़ की सीमा से सटा ये इलाका नक्सलप्रभावित भी है।
उत्तराखंड के लिए भव्य उपहार है वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेन : प्रधानमंत्री मोदी
देहरादून, 25 मई: प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने उत्तराखंड की पहली वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेन का गुरुवार को शुभारंभ किया और कहा कि यह ट्रेन इस देवभूमि के लिए भव्य उपहार है जिससे राज्य की चहुंमुखी प्रगति को रफ़्तार मिलेगी। श्री मोदी ने यहां देहरादून रेलवे स्टेशन पर आयोजित एक कार्यक्रम में वीडियो कांफ्रेंसिंग से शिरकत की। प्रधानमंत्री ने उत्तराखंड में रेलवे के शत प्रतिशत विद्युतीकरण का भी लोकार्पण किया। इस मौके पर कार्यक्रम में उत्तराखंड के राज्यपाल लेफ्टिनेंट जनरल (सेवानिवृत्त) गुरमीत सिंह, मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी, रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव, राज्य सरकार के मंत्री, स्थानीय सांसद, विधायक और महापौर उपस्थित थे। प्रधानमंत्री ने अपने संबोधन में कहा, “उत्तराखण्ड के सभी लोगों को वंदेभारत एक्सप्रेस ट्रेन की बहुत-बहुत बधाई। दिल्ली और देहरादून के बीच चलने वाली ये ट्रेन देश की राजधानी को देवभूमि से और तेज़ गति से जोड़ेगी। वंदे भारत से दिल्ली-देहरादून के बीच रेल सफर में अब समय भी काफी कम हो जाएगा।” श्री मोदी ने कहा कि वह अभी कुछ देर पहले ही तीन देशों की यात्रा करके लौटे हैं। आज पूरा विश्व भारत को बहुत उम्मीदों से देख रहा है। हम भारत के लोगों ने जिस तरह अपनी अर्थव्यवस्था को मजबूती दी है, उसने पूरी दुनिया का विश्वास जगा दिया है। विश्व के लोग भारत को समझने के लिए, देखने के लिए भारत आना चाहते हैं। ऐसे में उत्तराखंड जैसे इतने सुंदर राज्यों के लिए यह बहुत बेहतरीन अवसर है। इस अवसर का पूरा लाभ उठाने में ये ‘वंदे भारत ट्रेन’ भी उत्तराखंड की मदद करने वाली है। उन्होंने कहा, “उत्तराखंड देवभूमि है, मुझे याद है…जब मैं बाबा केदारनाथ का दर्शन करने गया था तो दर्शन के बाद अनायास ही मेरे मुख से कुछ पंक्तियां निकली थीं। ये पंक्तियां थीं- ये दशक उत्तराखंड का दशक होगा।” उन्होंने कहा कि उत्तराखण्ड आज जिस प्रकार से कानून व्यवस्था को सर्वोपरि रखते हुए विकास के अभियान को आगे बढ़ा रहा है, वह बहुत सराहनीय है। यह देवभूमि की पहचान को संरक्षित करने के लिए भी अहम है। श्री मोदी ने कहा, “मुझे विश्वास है कि ये देवभूमि आने वाले समय में पूरे विश्व की आध्यात्मिक चेतना के आकर्षण का केंद्र बनेगी। हमें इस सामर्थ्य के अनुरूप ही उत्तराखंड का विकास करना होगा।” उन्होंने कहा कि भारत में हाई-स्पीड ट्रेनों को लेकर भी पहले की सरकारों ने बड़े-बड़े दावे किए, लेकिन कई-कई साल बीत गए, हाई-स्पीड ट्रेन तो दूर की बात है, रेल नेटवर्क से मानवरहित फाटक तक हटा नहीं पाए थे। बिजलीकरण की स्थिति तो और बदतर थी। उन्होंने कहा कि सफर के लिए वंदे भारत ट्रेन लोगों की पहली पसंद बनती जा रही है। श्री मोदी ने कहा कि बुनियादी ढांचे के आधुनिकीकरण के माध्यम से देश में तेजी से विकास सुनिश्चित किया जा सकता है, लेकिन पहले लंबे समय तक जिन दलों की सरकारें रहीं, उन्होंने देश की इस जरूरत को कभी समझा ही नहीं। उन दलों का ध्यान घोटालों पर था, भ्रष्टाचार पर था, परिवारवाद के अंदर ही वो सिमटे हुए थे। उन्होंने कहा, “वर्ष 2014 के बाद ही देश में बदलाव दिखने लगा है, हमने रेलवे को बदलने के लिए समग्र प्रयास किए। यह सब आज संभव हुआ है, देश के विकास के लिए सही नीयत, सही नीति और पूरी निष्ठा रही है।” उन्होंने कहा कि भारत आज अपनी तेज गति पकड़ चुका है और वंदे भारत की रफ्तार से आगे बढ़ रहा है। उन्होंने कहा कि चारधाम यात्रा पर आने वाले तीर्थ यात्रियों की संख्या हर वर्ष पुराने सभी रिकार्डों को ध्वस्त करते हुए नया रिकॉर्ड बना रही है। आज उत्तराखण्ड के नए-नए स्थल देश-विदेश के पर्यटकों को आकर्षित कर रहे हैं। इन सभी को वंदे भारत ट्रेन से बहुत मदद मिलेगी। प्रधानमंत्री ने कहा कि उत्तराखंड के लिए वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेन पर्यटन, उद्योग, व्यापार और रोजगार के अवसर खुलेंगे। यह राज्य के लोगों के लिए एक भव्य उपहार साबित होगी। इस मौके पर मुख्यमंत्री श्री धामी ने कहा, “आज का दिन देवभूमि उत्तराखण्ड के लिए ऐतिहासिक दिन है, यह हम सब का सौभाग्य है कि हम इस दिन के साक्षी बन रहे हैं। प्रधानमंत्री श्री मोदी का उत्तराखण्ड के प्रति विशेष लगाव का ही प्रतिफल है कि प्रदेश की राजधानी देहरादून से देश की राजधानी का सफर कुछ ही घंटों में तय किया जा सकेगा।” श्री धामी ने कहा, “मुझे उम्मीद है कि भविष्य में यह सेमी हाई स्पीड ट्रेन देवभूमि के दुर्गम पहाड़ों में दौड़कर एक नया कीर्तिमान स्थापित करेगी। मैं प्रधानमंत्री जी का धन्यवाद करना चाहता हूं जिनकी दूरदर्शिता के कारण आज ऋषिकेश कर्णप्रयाग रेल लाइन का काम भी तेजी से आगे बढ़ रहा है।” उत्तराखंड की यह पहली वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेन पौने पांच घंटे में 301 किलोमीटर की यह दूरी तय करेगी। मार्ग में यह गाड़ी हरिद्वार, रुड़की, सहारनपुर, मुजफ्फरनगर और मेरठ ठहरेगी। गाड़ी की औसत गति 63.36 किलोमीटर प्रतिघंटा होगी और यह अब तक चलने वाली सभी वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेनों की तुलना में सबसे कम होगी। यह आठ कोच वाली वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेन विश्व स्तरीय सुविधाओं से लैस है। यह ट्रेन यात्रियों, विशेष रूप से राज्य की यात्रा करने वाले पर्यटकों के लिए आरामदायक यात्रा अनुभव के एक नए युग की शुरुआत करेगी। ट्रेन पूरी तरह स्वदेश में निर्मित है और कवच तकनीक समेत सभी उन्नत सुरक्षा सुविधाओं से लैस है। प्रधानमंत्री ने उत्तराखंड में नव विद्युतीकृत रेल लाइन खंडों पीलीभीत-टनकपुर (62.17 रूट किलोमीटर), लालकुँआ-भोजीपुरा (65.07 रूट किलोमीटर), रामपुर-लालकुँआ (66.01 रूट किलोमीटर), लालकुँआ-काठगोदाम (21.48 रूट किलोमीटर), लालकुँआ-काशीपुर (57.35 रूट किलोमीटर) तथा मुरादाबाद-काशीपुर- रामनगर (72.701 रूट किलोमीटर) का लोकार्पण किया। इससे राज्य का पूरा रेल मार्ग शत प्रतिशत विद्युतीकृत हो गया है। विद्युतीकृत खंडों पर इलेक्ट्रिक ट्रैक्शन द्वारा चलाई जाने वाली ट्रेनों से न सिर्फ ट्रेनों की गति में वृद्धि होगी, बल्कि ढुलाई क्षमता भी बढेगी।
मुख्यमंत्री केजरीवाल और भगवंत मान ने उद्धव ठाकरे से की मुलाकात
मुंबई, 24 मई : शिवसेना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे) पार्टी के अध्यक्ष और महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे से बुधवार को मुंबई में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने मुलाकात की। इस मुलाकात के बाद इन तीनों नेताओं ने साझा पत्रकार वार्ता आयोजित कर केंद्र सरकार पर निशाना साधा। उद्धव ठाकरे ने पत्रकारों को बताया कि अगला साल चुनाव का है। हाल ही में सुप्रीम कोर्ट ने दो निर्णय दिए हैं। एक दिल्ली सरकार के बारे में है और दूसरा शिवसेना के बारे में है। देश देख रहा है कि केंद्र सरकार सुप्रीम कोर्ट के फैसले का अनादर कर रही है। उद्धव ठाकरे ने कहा कि इस समय लोकतंत्र खतरे में है, इसलिए सभी को साथ आना आवश्यक है। अरविंद केजरीवाल ने कहा कि दिल्ली में उनकी सरकार आते ही मोदी सरकार ने नोटिफिकेशन जारी कर दिल्ली सरकार की शक्तियां छीन ली थीं । इसके बाद वे सुप्रीम कोर्ट गए और सुप्रीम कोर्ट ने उनके पक्ष में फैसला दिया। इसके बावजूद सुप्रीम कोर्ट का फैसला केंद्र सरकार नहीं मान रही है। जजों और वकीलों को गालियां दी जा रही हैं। उनके खिलाफ अभियान चलाया जा रहा है। अरविंद केजरीवाल ने कहा कि केंद्र सरकार की ज्यादती का सबसे अधिक सामना शिवसेना को करना पड़ा है। उन्होंने सीबीआई, ईडी का इस्तेमाल करके बहुमत से बनी, जनता की सरकार को उखाड़ फेंका। अगर उनकी सरकार नहीं बनी तो विधायकों को तोड़ा जा रहा है। अगर उससे भी बात नहीं बनी तो अध्यादेश पारित करने की कोशिश की जा रही है। केजरीवाल ने कहा कि शिवसेना ने हमसे वादा किया है कि जब यह मुद्दा संसद में आएगा तो वे हमारा समर्थन करेंगे। भगवंत मान ने कहा कि केंद्र सरकार इलेक्टेड की जगह सेलेक्टेड को वरीयता दे रही है। ईडी, सीबीआई का प्रयोग कर गैर भाजपा सरकारों को अस्थिर किया जा रहा है। जनतंत्र की बजाय सिर्फ सत्ता ही उनका मुख्य मकसद बन गया है। भगवंत मान ने कहा कि देश के स्वतंत्रता सेनानियों ने अपना खून देकर देश को आजादी दिलाई है और ये लोग देश के सारे संस्थानों को बेचने में लगे हैं, इसलिए देश बचाना जरूरी हो गया है और देश बचाने के लिए लोकतंत्र बचाना जरूरी है। इस मौके पर राज्यपाल सीपी राधाकृष्णन, मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन और केंद्रीय कानून मंत्री अर्जुन राम मेघवाल भी मौजूद थे। राष्ट्रपति ने हाथ हिलाकर वहां मौजूद लोगों का अभिवादन स्वीकार किया। इसके बाद उन्होंने अल्बर्ट एक्का चौक स्थित परमवीर चक्र विजेता लांस नायक अल्बर्ट एक्का की प्रतिमा पर माल्यार्पण किया। वहां से राष्ट्रपति के राजभवन पहुंचने पर राज्यपाल और अधिकारियों ने उनका स्वागत किया।
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने भगवान बिरसा मुंडा की प्रतिमा पर किया माल्यार्पण
रांची, 24 मई: राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू बुधवार को रांची एयरपोर्ट से बिरसा चौक पहुंची। यहां उन्होंने भगवान बिरसा की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर उन्हें श्रद्धा सुमन अर्पित किए। इस मौके पर राज्यपाल सीपी राधाकृष्णन, मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन और केंद्रीय कानून मंत्री अर्जुन राम मेघवाल भी मौजूद थे। राष्ट्रपति ने हाथ हिलाकर वहां मौजूद लोगों का अभिवादन स्वीकार किया। इसके बाद उन्होंने अल्बर्ट एक्का चौक स्थित परमवीर चक्र विजेता लांस नायक अल्बर्ट एक्का की प्रतिमा पर माल्यार्पण किया। वहां से राष्ट्रपति के राजभवन पहुंचने पर राज्यपाल और अधिकारियों ने उनका स्वागत किया।
प्रधानमंत्री मोदी ने ऑस्ट्रेलिया के गवर्नर जनरल डेविड हर्ले से की मुलाकात
सिडनी/नई दिल्ली, 24 मई: प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने बुधवार को ऑस्ट्रेलिया के गवर्नर जनरल डेविड हर्ले से मुलाकात की। इस दौरान, दोनों नेताओं ने भारत और ऑस्ट्रेलिया के लोगों के बीच संपर्क और लंबे समय से जारी द्विपक्षीय साझेदारी को मजबूत करने के उपायों पर चर्चा की। ऑस्ट्रेलिया के प्रधानमंत्री एंथनी अल्बनीज के साथ व्यापक बातचीत के बाद मोदी ने हर्ले से मुलाकात की। अल्बनीज के साथ बैठक के दौरान दोनों नेताओं ने व्यापार, निवेश, रक्षा और नवीकरणीय ऊर्जा जैसे क्षेत्रों के अलावा समग्र द्विपक्षीय संबंधों को बढ़ावा देने पर ध्यान केंद्रित करने पर चर्चा की। भारतीय विदेश मंत्रालय ने ट्वीट किया, “सिडनी में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और ऑस्ट्रेलिया के गवर्नर जनरल हर्ले के बीच वार्ता हुई। दोनों नेताओं ने भारत और ऑस्ट्रेलिया के लोगों के बीच संपर्क और लंबे समय से चली आ रही द्विपक्षीय साझेदारी को मजबूत करने के उपायों पर चर्चा की।” मोदी ने भी कहा कि हर्ले से मिलकर उन्हें बेहद खुशी हुई। मोदी ने ट्वीट किया, “गवर्नर जनरल डेविड हर्ले से मिलकर और भारत-ऑस्ट्रेलिया संबंधों पर चर्चा करके प्रसन्नता हुई। हमारे राष्ट्रों के बीच मजबूत संबंध एक बेहतर दुनिया के निर्माण में योगदान देंगे।” मोदी ने मंगलवार को ऑस्ट्रेलिया के प्रधानमंत्री के साथ कुडोस बैंक एरिना में प्रवासी भारतीयों के एक कार्यक्रम को संबोधित किया था। इस दौरान, मोदी और अल्बनीज दोनों ने द्विपक्षीय संबंधों को मजबूत करने में ऑस्ट्रेलिया में बसे भारतीय प्रवासियों के योगदान की सराहना की थी।
बृजभूषण सिंह की गिरफ्तारी के लिए पहलवानों का इंडिया गेट प्रदर्शन, निकला कैंडल मार्च
नई दिल्ली, 23 मई: यौन शोषण मामले में भारतीय कुश्ती संघ (डब्लूएफआई) के अध्यक्ष और भाजपा सांसद बृज भूषण शरण सिंह की गिरफ्तारी के लिए पहलवान आज इंडिया गेट पर प्रदर्शन कर रहे हैं। वो मोमबत्ती जलाकर (कैंडल मार्च) गिरफ्तारी की मांग कर रहे हैं। इस दौरान पहलवानों के समर्थन में कर्तव्य पथ पर कैंडल मार्च के दौरान भीड़ भी मौजूद है। पहलवानों के जंतर मंतर पर धरना प्रदर्शन का आज (23 मई) एक महीना पूरा हो गया है। उन्होंने 23 अप्रैल से बृज भूषण की गिरफ्तारी के लिए जंतर-मंतर पर पहुंचकर धरना देना शुरू कर दिया था। यौन शोषण का आरोप लगाते हुए बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ सात महिला पहलवानों ने 21 अप्रैल को कनॉट प्लेस थाने में शिकायत की थी। पॉलीग्राफी टेस्ट के लिए हुए राजी बृजभूषण शरण सिंह रविवार को फेसबुक पर एक पोस्ट करते हुए कहा था कि अगर उनके टेस्ट के साथ पहलवान विनेश फोगट और बजरंग पूनिया का भी यही टेस्ट कराया जाता है तो वह पॉलीग्राफ टेस्ट के लिए तैयार हैं। विनेश और बजरंग बोले- हम नार्को टेस्ट कराने के लिए तैयार उल्लेखनीय है कि जंतर-मंतर पर धरने पर बैठे पहलवान बजरंग पुनिया और विनेश फोगाट ने सोमवार को कहा था कि वह नार्को टेस्ट कराने के लिए तैयार हैं। साथ ही भारतीय कुश्ती महासंघ के निवर्तमान अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ एफआइआर दर्ज कराने वाली पीड़िता भी टेस्ट के लिए तैयार हैं। दोनों ने बृजभूषण के उस बयान के संदर्भ में जवाब दिया, जिसमें उन्होंने कहा था कि वह नार्को टेस्ट कराने के लिए तैयार हैं। शर्त है कि उनके साथ बजरंग और विनेश को भी नार्कों टेस्ट कराना होगा। बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ दो मामले दर्ज दिल्ली पुलिस ने पिछले महीने बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ दो मामले दर्ज किए थे। पहली प्राथमिकी एक नाबालिग द्वारा लगाए गए आरोपों से जुड़ी है जिसमें पॉक्सो कानून और भारतीय दंड संहिता की संबंधित धाराओं में मामला दर्ज किया गया है। वहीं, दूसरी प्राथमिकी वयस्कों द्वारा लगाए गए यौन उत्पीड़न के आरोपों से संबंधित है।
ब्रिसबेन में वाणिज्य दूतावास खोलेगा भारत : प्रधानमंत्री मोदी
सिडनी/नई दिल्ली, 23 मई : प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने ऑस्ट्रेलिया में बसे प्रवासी भारतीयों की लंबित मांग को पूरा करने के लिए मंगलवार को घोषणा की कि भारत जल्द ही ब्रिसबेन में एक नया वाणिज्य दूतावास खोलेगा। उन्होंने कहा कि भारत और ऑस्ट्रेलिया का संबंध आपसी विश्वास और आपसी सम्मान पर आधारित है। प्रधानमंत्री मोदी सिडनी स्थित कुडोस बैंक एरिना में खचाखच भरे स्टेडियम में भारतीय डायस्पोरा के सदस्यों को संबोधित करते हुए अपनी बात रख रहे थे। इस कार्यक्रम में उनके ऑस्ट्रेलियाई समकक्ष एंथनी अल्बनीस भी उपस्थित थे। अपने संबोधन में प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, “सामुदायिक कार्यक्रम में प्रवासी भारतीयों के साथ जुड़ना बेहद खुशी की बात है।” उन्होंने अपनी पिछली यात्रा का स्मरण कराते हुए कहा, “जब मैं 2014 में यहां आया था, तो मैंने आपसे वादा किया था कि आपको भारतीय प्रधानमंत्री के लिए फिर से 28 साल तक इंतजार नहीं करना पड़ेगा। इसलिए मैं एक बार फिर यहां सिडनी में हूं। प्रधानमंत्री अल्बानीस भी यहां मेरे साथ हैं।” प्रधानमंत्री ने कहा कि एक समय था जब थ्री सी भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच संबंधों को परिभाषित करते थे। ये तीन थे- कॉमनवेल्थ, क्रिकेट और करी। उसके बाद यह थ्री डी था, लोकतंत्र, डायस्पोरा और दोस्ती! जब यह थ्री ई बना, तो यह ऊर्जा, अर्थव्यवस्था और शिक्षा के बारे में था। आगे उन्होंने कहा कि लेकिन सच्चाई यह है कि भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच संबंधों की वास्तविक गहराई इन सी-डी-ई से परे आपसी विश्वास और आपसी सम्मान के भाव से है और इसके पीछे असली कारण भारतीय प्रवासी हैं। अपने संबोधन में प्रधानमंत्री ने कहा कि भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच कितनी भी भौगोलिक दूरियां क्यों न हों हिंद महासागर हमें जोड़ता है। दोनों देशों की जीवनशैली अलग-अलग क्यों न हो, योग हमें जोड़ता है। क्रिकेट एक ऐसी चीज है, जिसने हमें युगों से जोड़े रखा है। अब टेनिस और सिनेमा अन्य जोड़ने वाले सेतु हैं। प्रधानमंत्री मोदी और उनके ऑस्ट्रेलियाई समकक्ष अल्बनीज ने इस दौरान सिडनी के उपनगर हैरिस पार्क का नाम बदलकर ‘लिटिल इंडिया’ कर दिया। मोदी ने सिडनी के एक उपनगर ‘लिटिल इंडिया’ की आधारशिला के अनावरण में समर्थन देने के लिए अपने ऑस्ट्रेलियाई समकक्ष का आभार व्यक्त किया। दरअसल, हैरिस पार्क पश्चिमी सिडनी का एक केंद्र है, जहां भारतीय समुदाय दिवाली और ऑस्ट्रेलिया दिवस जैसे त्यौहारों और कार्यक्रमों का जश्न मनाता है। प्रधानमंत्री ने दुनिया में भारत की स्थिति को वैश्विक अच्छाई की ताकत के रूप में बताया। उन्होंने कहा, “जब भी कोई आपदा आती है तो भारत दूसरों की मदद के लिए हमेशा तैयार रहता है।” उन्होंने भारत को ‘लोकतंत्र की जननी’ के साथ-साथ वैश्विक अर्थव्यवस्था में ‘उज्ज्वल स्थान’ के रूप में भी सराहा। प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि आईएमएफ भारत को वैश्विक अर्थव्यवस्था का ब्राइट स्पॉट मानता है। विश्व बैंक के अनुसार यदि कोई देश है जो वैश्विक विपरीत परिस्थितियों का सामना कर रहा है, तो वह भारत है। भारत ने सबसे चुनौतीपूर्ण समय में भी रिकॉर्ड निर्यात किया है। आगे उन्होंने कहा कि पिछले 9 सालों में भारत ने काफी तरक्की की है। हमने गरीब लोगों के लिए करीब 50 करोड़ बैंक खाते खोले हैं। इतना ही नहीं, दरअसल भारत में पब्लिक डिलीवरी का पूरा इको-सिस्टम ही बदल गया है। 2014 से 28 लाख करोड़ रुपये से अधिक की राशि सीधे लाभार्थियों के बैंक खातों में स्थानांतरित की गई है। जेम ट्रिनिटी और डीबीटी ने देश में एक क्रांति ला दी है। प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि भारत ने कोरोना महामारी में दुनिया का सबसे तेज वैक्सीनेशन प्रोग्राम चलाया। आज भारत दुनिया में नंबर-एक स्मार्टफोन डेटा कंज्यूमर है। उन्होंने आगे कहा कि हम राष्ट्र को भी एक परिवार के रूप में देखते हैं और विश्व को भी एक परिवार मानते हैं। जब भारत अपनी जी-20 अध्यक्षता की थीम तय करता है, तो कहता है- एक पृथ्वी, एक परिवार, एक भविष्य। जब भारत पर्यावरण की रक्षा के लिए सोलर एनर्जी के बड़े लक्ष्य तय करता है, तो कहता है- वन सन, वन वर्ल्ड, वन ग्रिड। जब भारत वैश्विक समुदाय के स्वस्थ रहने की कामना करता है तो कहता है- एक पृथ्वी, एक स्वास्थ्य। लगातार लग रहे मोदी-मोदी नारों के बीच प्रधानमंत्री ने कहा कि सोलर एलायंस जैसे संघों के लिए हो, डिजास्टर रेजिलिएंट इन्फ्रास्ट्रक्चर के निर्माण के लिए या बिग कैट एलायंस का नेतृत्व करने के लिए भारत ने हमेशा विभिन्न राष्ट्रों को जोड़ने के लिए ‘बाइंडिंग फोर्स’ के रूप में काम किया है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के उद्बोधन के दौरान खचाखच भरे स्टेडियम में लगातार नारे लगते रहे। इस दौरान ऑस्ट्रेलियाई प्रधानमंत्री भी लगातार ताली बजाते हुए प्रसन्न चित दिखे। कार्यक्रम प्रारंभ होने से पहले प्रधानमंत्री का पारंपरिक तरीके से स्वागत किया गया। अपने उद्बोधन के बाद प्रधानमंत्री मोदी अपने समकक्ष एंथनी अल्बनीस के साथ दर्शकों से मिले। उनके साथ सेल्फी ली और ऑटोग्राफ भी दिये।
केजरीवाल ने ममता से की मुलाकात, केंद्र के अध्यादेश के खिलाफ लड़ाई में मांगा समर्थन
कोलकाता/नई दिल्ली, 23 मई : दिल्ली में सेवाओं पर नियंत्रण संबंधी केंद्र के अध्यादेश के खिलाफ अपनी लड़ाई में समर्थन जुटाने के लिए देशव्यापी दौरे के तहत मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान के साथ मंगलवार को पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी से कोलकाता में मुलाकात की। इस बैठक में केजरीवाल के साथ आम आदमी पार्टी (आप) के नेता राघव चड्ढा और आतिशी सिंह ने भी शिरकत की। नेताओं के बीच बैठक में राष्ट्रीय राजधानी सिविल सेवा प्राधिकरण की स्थापना के संबंध में केंद्र के अध्यादेश पर चर्चा होने की उम्मीद है जिसने उच्चतम न्यायालय के आदेश को उलट दिया है। न्यायालय ने पुलिस, सार्वजनिक व्यवस्था और भूमि से संबंधित सेवाओं को छोड़कर, दिल्ली की निर्वाचित सरकार को सेवाओं का नियंत्रण दिया था। यहां मुख्यमंत्री सचिवालय के सूत्रों ने यह भी कहा कि इस बैठक में 2024 के राष्ट्रीय चुनावों और विपक्षी दलों के बीच एकता बनाने की संभावना पर चर्चा होने की उम्मीद है। कोलकाता के लिए यात्रा शुरू करने से पहले केजरीवाल ने ट्वीट किया था, ‘‘आज से देश भर में निकल रहा हूं। दिल्ली के लोगों के हक के लिए। उच्चतम न्यायालय ने बरसों बाद आदेश पारित करके दिल्ली के लोगों के साथ न्याय किया, उन्हें उनके हक दिये। केंद्र सरकार ने अध्यादेश लाकर वो सारे हक वापस छीन लिये।’’ उन्होंने कहा, ‘‘जब ये कानून राज्यसभा में आएगा, तो इसे किसी हालत में पास नहीं होने देना। सभी राजनीतिक दलों के अध्यक्षों से मिलकर उनका साथ मांगूंगा।’
UPSC CSE EXAM 2022: पहले चार स्थानों पर महिला उम्मीदवारों ने बाजी मारी
नई दिल्ली, 23मई संघ लोक सेवा आयोग ने सिविल सेवा परीक्षा के अंतिम परिणाम की आज घोषणा कर दी जिसमें कुल 933 उम्मीदवारों को सफल घोषित किया गया है इनमें से शीर्ष चार स्थानों पर महिला उम्मीदवारों ने बाजी मारी है। आयोग द्वारा मंगलवार को घोषित परिणामों में सफल घोषित 933 उम्मीदवारों में 613 पुरूष तथा 320 महिलाएं हैं। सुश्री इशिता किशोर पहले, गरिमा लोहिया दूसरे, उमा हराथी तीसरे तथा स्मृति मिश्रा चौथे स्थान पर रही हैं। शीर्ष 25 उम्मीदवारों में से 14 महिलाएं तथा 11 पुरूष हैं। पहले स्थान पर रही सुश्री किशोर ने राजनीति शास्त्र और अंतर्राष्ट्रीय संबंधों के विषय के साथ परीक्षा पास की है। वह दिल्ली विश्वविद्यालय के श्री राम कालेज ऑफ कार्मस की अर्थशास्त्र की छात्रा रही हैं। दूसरे स्थान पर रही सुश्री लोहिया ने दिल्ली विश्वविद्यालय के किरोड़ीमल कालेज से कार्मस में पढाई की है। सिविल सेवा परीक्षा में उनके विषय कामर्स और अकाउंटेंसी थे। तीसरे स्थान पर रही सुश्री हराथी ने आई आई टी हैदराबाद से सिविल इंजीनयरिंग में बी टेक किया है। सिविल सेवा परीक्षा उन्होंने वैकल्पिक विषय एंथ्रोपोलोजी के साथ पास की। सुश्री मिश्रा दिल्ली विश्वविद्यालय के मिरांडा हाउस कालेज से पढी हैं और सिविल सेवा परीक्षा में उनका वैकल्पिक विषय प्राणी विज्ञान रहा है। सिविल सेवा 2022 की प्रारंभिक परीक्षा 5 जून 2022 को हुई थी जिसके लिए 11 लाख 35 हजार 697 उम्मीदवारों ने आवेदन किया लेकिन 5 लाख 73 हजार 735 ने परीक्षा दी। इनमें से 13090 उम्मीदवारों ने प्रारंभिक परीक्षा पास की। इनमें से 2529 उम्मीदवारों ने सितम्बर 2022 में हुई मुख्य परीक्षा पास की जिनमें से 933 उम्मीदवारों को साक्षात्कार के बाद सफल घोषित किया गया। सफल उम्मीदवारों में 41 बेंचमार्क दिव्यांग भी शामिल हैं। सिलेक्ट किए गए टॉप 10 उम्मीदवारों की लिस्ट 1. इशिता किशोर 2. गरिमा लोहिया 3. उमा हरति एन 4. स्मृति मिश्रा 5. मयूर हजारिका 6. गहना नव्या जेम्स 7. वसीम अहमद 8. अनिरुद्ध यादव 9. कनिका गोयल 10. राहुल श्रीवास्तव
UPSC CSE 2022 : बिहार की बादशाहत कायम, बिहार की बेटी गरिमा लोहिया हुई सेकेंड टॉपर
नई दिल्ली, 23 मई: संघ लोक सेवा आयोग ने सिविल सेवा परीक्षा(UPSC CSE 2022 Exam) के परिणाम की घोषण कर दी है। इस बार भी बिहार की बादशाहत कायम रही है। बिहार के बक्सर जिला की रहने वाली गरिमा लोहिया ने पूरे देश में दूसरा स्थान हासिल किया है। वहीं, पहला स्थान इशिता किशोर ने प्राप्त किया है। इस बार टॉप 10 में देश की बेटियों ने जगह बनाई है। बक्सर की बेटी ने दूसरा स्थान लाकर बिहार का सिर गर्व से ऊंचा कर दिया। उनकी इस सफलता से बक्सर ही नहीं पूरे बिहारवासियों में खुशी की लहर है। गरिमा ने बक्सर के वूड स्टॉक स्कूल से से पढ़ाई की गरिमा लोहिया ने बक्सर के वूड स्टॉक स्कूल से पढ़ाई की है। उनके पिता नारायण प्रसाद लोहिया का निधन चार साल पहले हो चुका है। पिता के जाने के बाद उनकी हिम्मत टूट चुकी थी। लेकिन उन्होंने खुद को संभाला और काफी मेहनत कर यह सफलता पाई। अमर उजाला से खास बातचीत में गरिमा ने बताया कि उन्होंने बक्सर में रह कर ही तैयारी की। इतनी अच्छी रैंक आएगी, इसकी उम्मीद नहीं थी। कोरोना के दौरान कोचिंग नहीं कर सकती थी। इसलिए ऑनलाइन कोर्सेस से ही तैयारी की। उन्होंने अपनी सफलता का श्रेय अपने खासतौर पर अपनी मां को दिया। सेल्फ स्टडी पर ही ज्यादा जोर दिया, जीएस के ऑनालइन मदद गरिमा ने बताया कि उन्होंने दिल्ली विश्विद्यालय में कॉमर्स में ग्रेजुएशन किया। इसी दौरान यूपीएससी की तैयारी शुरू की और उन्हें सफलता मिली। उनके परिवार में मां, भाई और एक बड़ी बहन है। उन्होंने बताया, ‘मैंने सेल्फ स्टडी पर ही ज्यादा जोर दिया। सामान्य ज्ञान के लिए सोशल साइट्स की मदद ली। इस परीक्षा में तैयारी बहुत मुश्किल होती है। इसका मतलब यह नहीं होता कि हम निराश हो जाएं। आपको जो चीज खुशी देती हो, वह करें, परिवार के साथ रहें और मनोबल बढ़ाते रहें। मैं अपनी सफलता का श्रेय अपनी मां को देना चाहती हूं।’ टॉप 10 में दो बिहारियों का झंडा बुलंद नजर गरिमा लोहिया के अलावा पटना निवासी राहुल श्रीवास्तव ने 10वां स्थान प्राप्त किया है। अमर उजाला से बातचीत के दौरान राहुल कहते हैं- “बिहार की मिट्टी में मेहनत और जज्बा है। मेहनत करने का जज्बा ही बिहारियों को बाकी से अलग करता है। ऐसा नहीं कि बहुत बड़े स्कूल या किसी बहुत बड़े संस्थान से ही आपका आधार तय होता है। अगर आपका लक्ष्य स्पष्ट हो तो अंत में आप उसे हासिल कर ही लेते हैं। लक्ष्य के प्रति समर्पण सबसे ज्यादा जरूरी है और इसके लिए शुरू से मेहनत करनी होती है।”